राजनीति विशेषज्ञ गोल्डन कुमार:-भारतीय जनता पार्टी छत्तीसगढ़ के 21 प्रत्याशियों के नाम घोषित करने के बाद छत्तीसगढ़ में राजनीति में हलचल मचा दिया, उसमें राजिम विधानसभा में प्रत्याशी घोषित होने के बाद काफी चर्चाओं का विषय है, आखिर रोहित साहू को टिकट क्यों मिला,? टिकट तो पहले से ही तय था ओबीसी समाज को ही मिलने वाला है, वर्तमान में जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक 2 के सदस्य हैं,, ओबीसी समाज में भी कई दावेदार थे, उसमें रोहित साहू को क्यों चयन किया गया,, अब रोहित साहू के समक्ष अन्य दावेदार को पहले देखते हैं जिनका नाम गया था, सबसे पहले हम यही बता देना चाहते हैं भारतीय जनता पार्टी संसाधन की कोई कमी नहीं है उनके पास खुफिया इनपुट अन्य पार्टियों से सबसे मजबूत है, कौन क्या है किसका राजनीति जमीन कितना मजबूत है सब दिल्ली तक पता चलते ही रहता है और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह लगातार हाई लेवल मीटिंग कर रहे थे रात तक बैठक ले रहे थे लगातार दौरा कर रहे थे, एक-एक सीटों पर चर्चा कर रहे थे अलग-अलग नेताओं को बैठक करके बैठक कर रहे थे, अब रोहित साहू के अन्य समक्ष दावेदार का नाम देखते हैं, डॉ रूप सिंह साहू की बात करते हैं 2018 में टिकट मांग रहे थे, उनका नाम कटने का एक ही वजह हो सकती है उनका अधिकतर निवास राजधानी रायपुर है, और यहां पार्टी को लोकल कैडर चाहिए जिनका जमीनी स्तर पर पकड़ हो, दूसरे नाम जिला पंचायत सदस्य चंद्रशेखर साहू का आता है, उनका नाम काटने का मुख्य वजह अभी नया है अभी तजुर्बा और उन्हें आने वाला समय में पार्टी जिला पंचायत में अन्य पदों पर भी भेज सकती है, जैसे पंचायत चुनाव के बाद बड़े पद, उसके बाद नाम आ सकता है बोधन साहू का, ब्यूरोक्रेसी से पॉलिटिक्स में आए हैं अभी कार्यकर्ताओं के बीच अच्छी पकड़ नहीं बना पाने की वजह से, उनको पार्टी उम्मीदवार घोषित करने में संकोचित हुए,, उसके बाद अन्य दावेदार देखे तो अपर कास्ट से,,, यानी उच्च वर्ग से और यहां आदिवासी अनुसूचित जाति पिछड़ा वर्ग की जनसंख्या अपेक्षा अधिक है,,, रोहित साहू को टिकट मिलने का दूसरा वजह यह भी है 2018 के चुनाव में कांग्रेस की लहर में भी 20000 से अधिक वोट हासिल किए थे,, उनको चुनाव लड़ने का अनुभव देखा गया है क्योंकि लड़ चुके हैं, उनके पास पार्टी के कार्यकर्ताओं के साथ-साथ उनका खुद का जमीन स्तर पर किया हुआ कार्य के कारण एवं लगातार स्थानीय विधायक को उनके कमियां को मीडिया एवं पब्लिक के बीच लाने की वजह से उनका टिकट दिया गया है, जो उनकी दिल्ली के नेताओं एवं पार्टी के बड़े नेताओं को सब चीजें संदेश मिलते रहता है, क्योंकि भारतीय जनता पार्टी एक-एक सीट पर पूरा उनकी फोकस है,,, आखिर पार्टी को कैसे जीत मिल सकती है??

राजनीति में बीजेपी ने अपना पत्ता खोल ही दिए हैं तब उसको मात देने के लिए पत्ता ही नहीं तूरूप का पत्ता ही इसको काट सकता है,, ओबीसी कैंडिडेट बीजेपी ने दे दिए हैं तब इसके और काट के लिए महिला समीकरण भी हो सकती है,, यानी अन्य पिछड़ा वर्ग अनुसूचित जाति जनजाति एवं सामान्य वर्ग के महिला वोटर महिला कैंडिडेट से बिल्कुल प्रभावित हो सकते हैं, जो चुनाव की तैयारी पहले से अपना जमीन तैयार कर लिए हो, जो अपना कैडर पॉलिटिक्स में खड़ा कर चुका हो,, और जिनका नाम पब्लिक के बीच संभावना अधिक संभावना के तौर पर लिया जा रहा है,,!
