राजनीति विशेषज्ञ गोल्डन कुमार:- छत्तीसगढ़ प्रभारी एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं हरियाणा से मुख्यमंत्री की प्रमुख दावेदार कुमारी शैलजा, छत्तीसगढ़ में फिर से कांग्रेस की सरकार बनाना उनका लक्ष्य है ताकि पार्टी के लिए काम करके उन्हें पार्टी के लिए नाम कमाना है इस पर वह कोई कसर नहीं छोड़ रही लगातार मीटिंग ले रही हैं कांग्रेस के महिला लीडर एवं काबिल पॉलिटिशियन हैं लोकसभा चुनाव के बाद होने वाले हरियाणा चुनाव के लिए उनका इमेज और कैरियर दांव पर लगा हुआ है , छत्तीसगढ़ में काम करके अपनी दावेदारी और मजबूत करना चाहती है विश्वसनीय सूत्रों से मिली जानकारी, के अनुसार कुछ दिन पहले एक सर्वे रिपोर्ट वायरल हो रही थी जिसमें छत्तीसगढ़ के कई विधायकों के कार्यकाल पर पूरा विवरण दिया गया था, वह सर्वे रिपोर्ट 2 साल पहले की थी, जो काफी वायरल हो रही थी,, चुनावी तारीखों का ऐलान लगभग अक्टूबर के पहले या दूसरे हफ्ता में हो सकती है यानी आचार संहिता लग सकती है, 15 अगस्त के बाद मुख्यमंत्री के जो भाषण एवं घोषणा में छत्तीसगढ़ की राजनीति में नई दिशा मिलने की उम्मीद है, 15 अगस्त को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का सामूहिक उद्बोधन ही आने वाला चुनावी का पूरा रणनीति और रोड मैप किए हुए कार्यों का विवरण दिया जाएगा एवं आने वाला चुनाव में जाने की रणनीति पर बिल्कुल 15 अगस्त के बाद से सरगर्मी तेज हो जाएगी, यानी काम करने के लिए केवल सितंबर का महीना ही आखरी महीना है,, राजनीतिक पार्टियां गोपनीय सूत्र एवं एजेंसियों का चुनावी सर्वे करवाती है, एवं अपने विशेष विश्वसनीय अधिकारी कर्मचारियों से जनता का फीडबैक लेती है। मिली जानकारी के अनुसार कांग्रेस के लगभग 25 से 30 सेटिंग विधायकों का टिकट कट सकता है यानी उनको दोबारा चुनाव पार्टी नहीं लड़ाएगी, पार्टी उदयपुर शिविर में लिए गए फैसले एवं राष्ट्रीय अधिवेशन हुए नियमों में संशोधन के फैसले पर काम करेगी, यानी टिकट के लिए किसी का सिफारिश काम नहीं आने वाला, कांग्रेस का फैसला कुछ भी हो सकता है वह चुनावी समय टिकट वितरण के समय देखा जा सकता है, पार्टी कर्नाटक की तर्ज पर सबसे पहले जिन सीटों पर दावेदार नहीं है एवं पार्टी ऐसे सीटों पर पहले ही उम्मीदवार की घोषणा करेगी,

राजनीति और क्रिकेट दोनों अनिश्चितता ओं का खेल है कुछ भी हो सकता है क्या फैसला कब ले ले कौन सा निर्णय ले ले इसे कुछ कहा नहीं जा सकता, यानी क्रिकेट के हिसाब से छह बॉल पर छह सिक्सर भी लग सकते हैं, और 6 विकेट भी गिर सकते हैं, यह केवल विधायकों के लिए है आंकड़े का समीकरण और गणित पॉलीटिशियन अच्छे से जानते हैं, राजनीति वह है वह खेती है, किसान भले ही छे छे महीना में फसल काट सकता है लेकिन राजनीति वह है 5 साल में एक बार मौका मिलता है और एक 2 साल तक तो आप कुछ नहीं कर सकते मुद्दा और कमजोरी ढूंढना पड़ता है।